Students gave messages through various mediums on the theme of low back pain.
श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल में वल्र्ड फिजियोथैरेपी
दिवस पर छात्र-छात्राओं ने मचाई धूम
शायरी, गायन एवम् गीत संगीत की बही बयार
देहरादून। श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के फिजियोथैरेपी विभाग की ओर से वल्र्ड फिजियोथैरेपी दिवस बहुत शानदार और उत्साह के साथ मनाया गया।
छात्र-छात्राओं ने नुक्कड़ नाटक, पोस्टर प्रतियोगिता में सांस्कृतिक कार्यक्रमों के माध्यम से आज के दिन को और विशेष बना दिया। प्रतियोगिता के विजेता छात्र-छात्राओं को पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया। इस वर्ष वल्र्ड फिजियोथैरेपी दिवस की थीम लो बैक पेन रही।
श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के ऑडिटोरियम में कार्यक्रम का शुभारंभ एसजीआरआर विश्वविद्यालय के समन्वयक डाॅ आर.पी.सिंह, श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डाॅ उत्कर्ष शर्मा, चिकित्सा अधीक्षक डाॅ अजय पंडिता, चिकित्सा अधीक्षक गौरव रतूडी, निदेशक डाॅ अमित मैत्रेय, स्कूल ऑफ पैरामैडिकल एलाइड हैल्थ साइंसेज़ की डीन प्रोफेस डाॅ कीर्ति सिंह, फिजियोथेरेपी विभाग की विभागाध्यक्ष डाॅ शारदा शर्मा एवम् प्रो. (डाॅ.) नीरज कुमार ने दीप प्रज्जवलित कर किया।
बीपीटी प्रथम वर्ष की छात्राओं ने गणेश वंदना के साथ कार्यक्रम का आगाज़ किया। लो बैक पेन थीम पर आयोजित पोस्टर प्रतियोगता में एमपीटी प्रथम वर्ष की आयुषी एवम् युक्ता संयुक्त रूप से अव्वल रहीं। एमपीटी प्रथम वर्ष की अदिति दूसरे एवम् बीपीटी प्रथम वर्ष की सुहानी एवम् अंजलि तीसरे स्थान पर रहे। बीपीटी प्रथम वर्ष के छात्र-छात्राओं ने नुक्कड नाटक के माध्यम फिजियोथेरेपी उपचार के विश्वव्यापी प्रभाव, महत्व एवम् उपयोगिता के बारे में संदेश दिया।
एमपीटी प्रथम वर्ष के मनोज ने बालीवुड गीतों को गुनगुनाकर युवा धड़कनों को तेज कर दिया। एमपीटी प्रथम वर्ष की श्रद्धा रौतेला एण्ड ग्रुप ने उत्तराखंण्डी गीतों के माध्यम से पहाड़ी संस्कृति की झलक पेश की। स्वाती त्रिवेदी एण्ड ग्रुप ने हिमाचली गीत नाटी के माध्यम से हिमाचल कला संस्कृति को मंच पर प्रस्तुत किया। छात्र-छात्राओं ने शायरी, स्किट सोलो डांस, ग्रुप डांस, बालीवुड डांस, ग्रुप गायन की भी आकर्षक प्रस्तुतियां दीं। मंच संचालन श्रद्धा रौतेला एवम् आरजू ने किया। डाॅ नीरज कुमार ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम को सफल बनाने में डाॅ शमा, डाॅ संन्दीप, डाॅ मंजुल, डाॅ तबस्सुम, डाॅ सुरभी, डाॅ रविन्द्र, डाॅ अकांक्षा, डाॅ दीपा, डाॅ जयदेव, सहयोगी स्टाफ राजन, सीमा, अंजलि, ज्योति का विशेष सहयोग रहा।