Martyr Sandeep Kumar’s mortal remains merged into Panchatatva, cremated with military honors
कर्णप्रयाग: 6दिसंबर को राजस्थान के जैसलमेर में ट्रेनिंग के दौरान अचानक तबियत विगडने से विकासखंड कर्णप्रयाग के झूरकुण्डी निवासी शहीद हुए 6 गढ़वाल के नायक संदीप कुमार का उनके पैतृक घाट कर्णप्रयाग में पूर्ण सैन्य सम्मान के साथ अन्तिम संस्कार किया गया है। इससे पूर्व शहीद के शव को उनके पैतृक गांव झुरकुण्डी लाया गया जहां शहीद के परिजनों ने उनके अन्तिम दर्शन किये।
इस दौरान पैतृक घाट पर पंहुचे सुबेदार दिगपाल प्रसाद ने बताया कि शहीद सैनिक नायक संदीप कुमार बहुत अच्छे व्यक्ति थे। अभ्यास के दौरान तबियत बिगने से वह शहीद हुए है। लेकिन शहीद के जाने पर हम शोक नही करते बल्कि शहीद को सम्मान देते है। उन्होंने कहा कि सेना तरफ से परिजनो को हर संभव मदद दी जायेगी।
शहीद संदीप कुमार को अन्तिम विदाई देने क्षेत्र के लोगो का हुजूम उमड पडा । लोगो ने नम आंखो से शहीद को अपने श्रद्धासुमन अर्पित किए।
वही शहीद के चाचा संजय कुमार का कहना है कि कार्यस्थल से अस्पताल 150 किलोमीटर की दूरी पर होने के कारण समय पर शहीद को इलाज नही मिल पाया। फिर भी हमे संदीप के देश सेवा के लिए शहीद होने पर गर्व है।उन्होंने शहीद के सम्मान मे राजकीय इन्टर कालेज नैणी को शहीद के नाम करने की मांग की है।